2023-24 के वार्षिक बजट में 5 लाख रुपए तक की सालाना आय वालों को टैक्स में पूरी तरह छूट, अभी यह सीमा 2.5 लाख रुपए

(एन एल एन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ) : बजट 2020 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने नए टैक्स स्लैब का एलान किया, जिसमें टैक्स पहले के मुकाबले कम किए । हालांकि इसके साथ ही वित्त मंत्री ने बचत पर मिलने वाली टैक्स छूट को खत्म कर दिया । इस तरह सरकार ने एक हाथ से लिया तो दूसरे हाथ से ले लिया ! इसके साथ ही वित्त मंत्री ने साफ किया कि करदाता चाहें तो वो पुराने टैक्स स्लैब के तहत भी अपना टैक्स अदा कर सकते हैं । खुशखबरी! Income Tax Slab में बदलाव की तैयारी, 5 लाख रुपए तक की आय पर नहीं देना होगा टैक्स-रिपोर्ट केंद्र की मोदी सरकार आयकर स्लैब में बदलाव पर विचार कर रही है। इसके तहत साल 2023-24 के वार्षिक बजट में 5 लाख रुपए तक की सालाना आय वालों को टैक्स में पूरी तरह छूट दी जा सकती है। अभी यह सीमा 2.5 लाख रुपए है।
वित्त वर्ष 2023-24 के बजट में आयकर दाताओं को बड़ी राहत मिल सकती है। जानकारी के मुताबिक केंद्र सरकार इनकम टैक्स स्लैब में बदलाव पर विचार कर रही है। इसके तहत आयकर में छूट की सीमा 2.5 लाख रुपए से बढ़ाकर 5 लाख रुपए तक की जा सकती है। ऐसा होने पर देश के ज्यादातर आयकर दाताओं को फायदा मिलेगा। माना जा रहा है कि अपने दूसरे कार्यकाल के अंतिम पूर्ण बजट में केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार वेतन भोगियों और मिडिल क्लास के लोगों को टैक्स छूट के रूप में राहत देना चाहती है, जिससे अर्थव्यवस्था को भी मदद मिल सकती है।
कई एक्सपर्ट का मानना है कि मुद्रास्फीति की वजह से लोगों के खर्च बढ़ गए हैं, लेकिन जनता पर आयकर का बोझ कम नहीं हुआ है। इसलिए माना जा रहा है कि पर्सनल इनकम में छूट देने का यह सही समय है, जिससे लोग ज्यादा खर्च करेंगे और इससे मांग में भी बढ़ोतरी होगी।
नई वैकल्पिक टैक्स व्यवस्था को लोकप्रिय बनाने की कोशिश-रिपोर्ट खास बात ये भी है कि अगला बजट केंद्र की मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का आखिरी पूर्ण बजट होगा, जिसमें वेतनभोगियों को आयकर स्लैब में सुधार करके राहत देने की कोशिश हो सकती है। बिजनेस स्टैंडर्ड ने सरकार के कुछ अधिकारियों का बिना नाम जाहिर किए रिपोर्ट दी है कि टैक्स की सीमा बढ़ाने से लोगों के पास ज्यादा पैसा बचेगा, जिससे वह ज्यादा निवेश कर सकेंगे। इस समय ज्यादातर आयकर दाता पुरानी टैक्स व्यवस्था को ही अपनाए हुए हैं, और बहुत कम ने ही नई वैकल्पिक टैक्स व्यवस्था को चुना है। खबर के मुताबिक सरकार ने नई वैकल्पिक टैक्स व्यवस्था को लोकप्रिय बनाने के लिए ही, टैक्स स्लैब में बदलाव की ओर ध्यान दिया है।

नया टैक्स स्लैब क्या है? 0 से 2.5 लाख- कोई टैक्स नहीं, 2.5 से 5 लाख तक- 5%, 5 से 7.50 लाख तक – 10%, 7.5 से 10 लाख तक – 15%, 10 से 12.5 लाख तक – 20%, 12.5 से 15 लाख तक – 25%, 15 लाख रुपये से ऊपर- 30%,

पुराना टैक्स स्लैब क्या था?—2.5 से 5 लाख तक- 5%, 5 से 10 लाख तक – 20%, 10 लाख रुपये से ऊपर- 30%,

इसके साथ ही 80 सी और 80सीसीडी के तहत 2 लाख तक की बचत पर छूट होगी ।

पुराने टैक्स के हिबास से फायदा या नुकसान?

5 लाख तक की आमदनी अगर आपकी आमदनी 5 लाख तक है तो आपके लिए नए और पुराने टैक्स स्लैब से कोई मतलब नहीं है। आपके लिए कुछ भी नहीं बदला है । आपको कोई टैक्स नहीं देना होगा ।

5 लाख से 7.50 लाख तक की आमदनी इसके तहत 2.5 लाख रुपये तक की आय कर मुक्त रहेगी । 2.5 से पांच लाख तक की आय पर पांच प्रतिशत की दर से कर लगेगा । यानि 12,500 रुपये कर लगेगा । 5 लाख से 7.50 लाख की आय पर 10 फीसदी के हिसाब से टैक्स लगेगा । यानि कुल टैक्स होगा- 12,500+25,000= 37,500 रुपये ।

पहले कितना टैक्स देना पड़ता था? पुराने स्लैब में पांच से साढ़े सात लाख रुपये तक की आय पर 20 प्रतिशत टैक्स है । यानि 7.50 लाख तक कुल टैक्स होगा- 12,500+50,000= 62,500 रुपये ।

पुराने स्लैब में फायदा ये है कि अगर दो लाख की बचत कर लेते तो 20 फीसदी के टैक्स स्लैब के हिसाब से 40 हज़ार टैक्स कम हो जाता है । तब आपको कुल टैक्स देना होता- 62,500- 40,000=22,500

कुल मिलाकर नए टैक्स में कितना नुकसान? नए टैक्स स्लैब में 37,500 रुपये देना ही होता और बचाव का कोई रास्ता नहीं है, लेकिन पुराने स्लैब के तहत आप बचत के साथ दे सकते हैं 22,500 रुपये ।

इस तरह आपकी बचत होगी- 37,500-22,500= 15,000

कुल मिलाकर ये नतीजा निकला है कि अगर पुराने सिस्टम से टैक्स भरेंगे तो 7.5 लाख की आमदनी वालों को 15 हज़ार का फायदा होगा ।

7.5 लाख से 10 लाख तक की आमदनी 2.5 लाख कोई टैक्स नहीं । 2.5 से पांच लाख तक 5 प्रतिशत. यानि 12,500 रुपये कर लगेगा. 5 लाख से 7.50 लाख की आय पर 10 फीसदी के हिसाब के टैक्स लगेगा. यानि 25,000. 7.50 लाख से 10 लाख पर 15 फीसदी से टैक्स लगेगा । यानि- 37,500 रुपये ।

कुल टैक्स होगा- 12,500+25,000+37500= 75,000 रुपये ।

पहले कितना टैक्स देना पड़ता था? पुराने स्लैब में पांच से 10 लाख रुपये तक की आय पर 20 प्रतिशत टैक्स है । यानि 10 लाख तक कुल टैक्स होगा- 12,500+100,000= 112,500 रुपये ।

पुराने स्लैब में फायदा ये है कि अगर दो लाख की बचत कर लेते तो 20 फीसदी के टैक्स के हिबास से 40 हज़ार टैक्स कम हो जाता है । तब आपको कुल टैक्स देना होता- 112,500- 40,000=72,500

कुल मिलाकर नए टैक्स में कितना नुकसान?

नए टैक्स स्लैब में 75,000 रुपये देना ही होता और बचाव का कोई रास्ता नहीं है, लेकिन पुराने स्लैब के तहत आप बचत के साथ दे सकते हैं 72,500रुपये ।

इस तरह आपकी बतच होगी- 75,000 -72,500= 2,500

कुल मिलाकर ये नतीजा निकला है कि अगर पुराने सिस्टम से टैक्स भरेंगे तो 10 लाख की आमदनी पर आपको 25,00 का फायदा होगा ।

10 लाख से 15 लाख तक की आमदनी

2.5 लाख कोई टैक्स नहीं । 2.5 से पांच लाख तक 5 प्रतिशत. यानि 12,500 रुपये कर लगेगा. 5 लाख से 7.50 लाख की आय पर 10 फीसदी के हिसाब के टैक्स लगेगा. यानि 25,000 । 7.50 लाख से 10 लाख पर 15 फीसदी से टैक्स लगेगा. यानि- 37,500 रुपये ।

10 लाख से 12.5 लाख कर 20 फीसदी के हिसाब से 50,000 रुपये टैक्स और 12.5 लाख से 15 लाख तक 25 फीसदी तक यानि 62,500 का टैक्स । कुल टैक्स होगा- 12,500+25,000+37500+50,000+62,500= 187,500 रुपये ।

पहले कितना टैक्स देना पड़ता था? पुराने स्लैब में पांच से 10 लाख रुपये तक की आय पर 20 प्रतिशत टैक्स है । यानि 10 लाख तक कुल टैक्स होगा- 12,500+100,000= 112,500 रुपये ।

10 लाख से 15 लाख तक 30 फीसदी टैक्स- यानि 1.50 लाख टैक्स होगा ।

15 लाख तक कुल टैक्स होगा- 112,500+1,50,000=2,62,500

पुराने स्लैब में फायदा ये है कि अगर दो लाख की बचत कर लेते तो 30 फीसदी के टैक्स के हिसाब से 60 हज़ार रुपये टैक्स कम हो जाता है । तब आपको कुल टैक्स देना होता- 2,62,500- 60,000=2,02,500

कुल मिलाकर नए टैक्स में कितना फायदा? नए टैक्स स्लैब में 187,500 रुपये देना ही होता और बचाव का कोई रास्ता नहीं है, लेकिन पुराने स्लैब के तहत आप बचत के साथ दे सकते हैं 2,02,500 रुपये ।

इस तरह आपकी बचत होगी- 2,02,500-187,500 = 15,000

कुल मिलाकर ये नतीजा निकला है कि अगर नए सिस्टम से टैक्स भरेंगे तो 15 लाख की आमदनी पर आपको 15,000 का फायदा होगा ।

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