(एनएलएन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ):बता दें की एक बार फिर पाकिस्तान ने संघर्षविराम का उल्लंघन किया हैं। इस दौरान सीमा पार से भारी गोलाबारी की गई। भारतीय सेना के जवानों ने दुश्मन की गोलाबारी का कड़ा जवाब दिया। इस घटना में सेना के हवलदार निर्मल सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए।जिन्हें उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया जहां उन्होंने दम तोड़ दिया। सैन्य प्रवक्ता ने जानकारी देते हुए कहा कि हवलदार निर्मल सिंह बहादुर और ईमानदार सैनिक थे। उनके सर्वोच्च बलिदान और कर्तव्य के प्रति समर्पण के लिए राष्ट्र हमेशा उनका ऋणी रहेगा।उधर, अंतरराष्ट्रीय सीमा से घुसपैठ और सांबा जिले में ड्रोन से हथियार गिराने के लिए पाकिस्तान ने साजिशें तेज कर दी हैं। जम्मू-कश्मीर में सांबा से गुजरने वाला हाईवे अंतरराष्ट्रीय सीमा से सबसे नजदीक पड़ता है। विजयपुर में एम्स के नजदीक हाईवे की जीरो लाइन से दूरी बमुश्किल छह किलोमीटर है। इसी नजदीकी को भुनाने के लिए पाकिस्तान ने हाल के समय में सुरंगें खोदने और ड्रोन से हथियार गिराने का सिलसिला तेज किया है। ड्रोन से हथियार गिराने की ताजा घटना भी इसी क्रम को दर्शाती है।
नगरोटा में मारे गए आतंकियों का रूट भी सांबा जिले में खोदी गई सुरंग से जुड़ा था। वहीं कई बार ड्रोन से हथियार गिराने की घटनाएं हो चुकी हैं। दरअसल बसंतर और देविका नदी जिस जगह आपस में जुड़ती हैं, उससे बिल्कुल नजदीक अंतरराष्ट्रीय सीमा पड़ती है। इसी नदी क्षेत्र को आतंकी गतिविधियाें के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है। इस रूट से हाईवे और सीमा की दूरी छह किलोमीटर से भी कम है। रक्षा सूत्रों के अनुसार सुरंग से आतंकी घुसपैठ होने पर आतंकियों के लिए हाईवे तक पहुंचने का फासला अन्य इलाकों की तुलना में काफी कम है। यही वजह है कि सीमा पार से आतंकी साजिशों को अंजाम देने के लिए सांबा सेक्टर में हलचल तेज की गई है। हाईवे के दोनों तरफ नदी का क्षेत्र है जबकि उत्तर दिशा में जंगल क्षेत्र है, जिसे संदिग्ध गतिविधियाें के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है।