हिमाचल प्रदेश की सरकार राज्य में हर क्षेत्र में विकास के लिए आवश्यक चीजों पर नजर बनाए हुए है. स्वास्थ्य मंत्री विपिन परमार ने रविवार को अस्पतालों का निरीक्षण भी किया था. राज्य की नई सरकार स्वाथ्य की ओर एक नई योजना लाने की तैयारी में है. हिमाचल की भाजपा सरकार ने कहा कि हमारी प्रदेश के सभी अस्पतालों के डॉक्टरों के लिए यह अनिवार्य करने की योजना है कि वे मरीजों को जेनेरिक दवा को निर्दिष्ट करें. स्वास्थ्य मंत्री विपिन परमार ने आज यह जानकारी दी है.
आपको बता दें कि हिमाचल ऐसी योजना लाने वाला पहला राज्य होगा. परमार ने यहां पास के नानाओ गांव में भारतीय मेडिकल संघ के एक प्रतिनिधिमंडल से कहा, हिमाचल प्रदेश सरकार प्रदेश के सभी अस्पतालों में जेनेरिक दवाओं को लिखना अनिवार्य बनाने के लिए जल्द ही एक कानून लायेगी.’’ उन्होंने आगे कहा, ‘‘हिमाचल ऐसा विधेयक लाने वाला पहला राज्य बनेगा.’’ उन्होंने कहा कि डॉक्टरों को निर्देश दिया गया है कि वे ऐसी दवाओं को लिखें जो अस्पताल में मुफ्त उपलब्ध हों.
उन्होंने कहा कि अगर कोई डॉक्टर जेनेरिक के अलावा कोई और दवा लिखते हैं जो उन्हें ऐसा करने का कारण भी लिखकर बताना होगा.
बता दें कि पिछले हफ्ते ही स्वास्थ्य मंत्री विपिन परमार नादौन में निरीक्षण करने भी गए थे. उन्होंने एक अस्पताल के निर्माणाधीन भवन के कार्य को एक वर्ष के भीतर पूर्ण करवाने का निर्देश भी दिया था. और स्वास्थ्य से संबंधित कुछ अहम फैसले लेने की भी बात कही थी.
आपको बता दें कि हिमाचल में अभी स्वास्थ्य सेवाओं के लिए दूर भी जाना पड़ता है, जिससे उन्हें काफी समय बर्बाद करना पड़ता है. कुछ ग्रामीण इलाकों में तो अस्पतालों की स्थिति खराब पाई गई थी.