दक्षिण पश्चिम मानसून ने महाराष्ट्र में प्रवेश किया।
आंतरिक कर्नाटक, कोंकण और गोवा, गुजरात क्षेत्र और छत्तीसगढ़ के कुछ स्थानों हल्की से मध्यम बारिश का अनुमान है।
(एनएलएन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ) : ओम तिवारी : मानसून की दक्षिण पश्चिम शाखा ने महराष्ट्र में बारिश करनी शुरू कर दी है। राज्य के तटीय इलाकों समेत कुछ दूसरे क्षेत्रों में झमाझम बारिश दर्ज की गई है। मानसूनी बादलों ने ओडिशा पर भी डेरा जमा लिया है। मौसम विभाग (India Meteorological Department, IMD) ने राज्य के दक्षिण और तटीय जिलों खासतौर पर मलकानगिरी और कोरापुट में भारी से ज्यादा भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है। मौसम विज्ञानियों का कहना है कि बंगाल की खाड़ी पर बने निम्न दबाव के चलते दक्षिण-पश्चिम मानसून काफी अच्छी प्रगति कर रहा है। वहीं मौसम का पूर्वानुमान बताने वाली निजी एजेंसी स्काई मेट वेदर ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि दक्षिणी गुजरात और इससे सटे उत्तर-पूर्वी अरब सागर के ऊपर चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र पहले की तरह ही बरकरार है। एजेंसी की मानें तो अगले 24 घंटों के दौरान आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, विदर्भ, मराठवाड़ा, केरल, तटीय कर्नाटक, गंगीय पश्चिम बंगाल और पूर्वोत्तर भारत के कुछ हिस्सों में भारी से ज्यादा भारी बारिश हो सकती है। यही नहीं आंतरिक कर्नाटक, कोंकण और गोवा, गुजरात क्षेत्र और छत्तीसगढ़ के कुछ स्थानों हल्की से मध्यम बारिश का अनुमान है। दक्षिणी राजस्थान, झारखंड, पंजाब, बिहार, पूर्वी मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में हल्की बारिश संभव है। मौसम विभाग के हवाले से कहा है कि आगे की ओर बढ़ता मानसून ओडिशा के विभिन्न इलाकों में अगले दो दिनों तक भारी से ज्यादा भारी बारिश कराएगा। मौसम विज्ञानियों का अनुमान है कि मुंबई समेत महाराष्ट्र के कुछ और हिस्सों जबकि कोलकाता समेत पश्चिम बंगाल के कुछ हिस्सों में अगले 24 से 48 घंटे में मॉनसून दस्तक दे सकता है। अनुमान है कि जैसे जैसे मानसून आगे की ओर बढ़ेगा देश के कई इलाकों में बारिश में तेजी आती जाएगी। खेती के लिए मानसून की यह बारिश संजीवनी का काम करेगी लेकिन देश के विभिन्न इलाकों में जारी टिड्डियों के प्रकोप के चलते किसान चिंतित हैं। मौसम विभाग ने 48 घंटों में महाराष्ट्र के विभिन्न इलाकों में भारी बारिश का पूर्वानुमान व्यक्त किया है। आईएमडी मुंबई सेंटर्स के डिप्टी डायरेक्टर जनरल केएस होसलिकर (KS Hosalikar) ने बताया कि मानसून की शुरुआती लाइन हरनई, सोलापुर, रामागुंडम (तेलंगाना) और जगदलपुर (छत्तीसगढ़) के ऊपर से गुजर रही है। चूंकि मानसून के आगे बढ़ने के लिए परिस्थितियां अनुकूल हैं इसलिए अगले 48 घंटों में महाराष्ट्र के कुछ और हिस्सों में मानसून की बारिश संभव है। मौसम विभाग की मानें तो अगले तीन दिनों में मानसून झारखंड में भी दस्तक दे सकता है। हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डा. मदन खिचड़ ने बताया कि हरियाणा में 13 जून तक मौसम की आंखमिचौनी जारी रहेगी। महाराष्ट्र में पिछले वर्ष की मानसून की बारिश को अभी तक भुलाया गया नहीं है, लेकिन इस वर्ष फिर प्यासी हो चुकी धरती को महराष्ट्र में मानसून की बारिश से राहत मिलेगी।