तीसरे एयरक्राफ्ट कैरियर की प्रक्रिया तेज, 32 जंगी जहाजों का निर्माण किया जा रहा है : नेवी चीफ
नौसेना ने तीसरे एयरक्राफ्ट कैरियर की प्रक्रिया आगे बढ़ा दी है।
(एनएलएन मीडिया – न्यूज़ लाइव नाऊ) : नौसेना ने तीसरे एयरक्राफ्ट कैरियर की प्रक्रिया आगे बढ़ा दी है। नेवी चीफ एडमिरल सुनील लांबा ने सोमवार को इस बात की जानकारी दी। एडमिरल लांबा ने कहा कि 32 जंगी जहाजों का निर्माण किया जा रहा है। इसके अलावा हम जल्द ही बेड़े में 56 जंगी जहाज और पनडुब्बियां और शामिल होने की उम्मीद कर रहे हैं।एडमिरल लांबा ने कहा- सभी नए जहाज महिला अफसरों की तैनाती के लिहाज से ही बनाए जाएंगे। हमारे पास पहले से ही विक्रमादित्य और कोलकाता क्लास जैसे जहाज है, जो महिला अफसरों की तैनाती के हिसाब से उपयुक्त हैं। भविष्य में सभी जहाजों पर ये सुविधा होगी। नौसेना के पास अभी आईएनएस विक्रमादित्य एयरक्राफ्ट कैरियर है। ये जहाज 2014 में नौसेना को मिला था। 930 फीट लंबा ये जहाज 45,400 टन वजनी है। इसके अलावा 2020 में भारत में बना पहला एयरक्राफ्ट कैरियर आईएनएस विक्रांत नौसेना में शामिल हो जाएगा। 860 फीट लंबा ये जहाज 40 हजार टन वजनी है। एडमिरल लांबा ने कहा कि अदन की खाड़ी में जहाजों को सुरक्षा देने के लिए नेवी लगातार प्रयास कर रही है। दुनिया के लिए समस्या बन चुके समुद्री लुटेरों पर लगाम कसने के लिए कई ऑपरेशन चलाए गए। 10 साल में जहाजों में लूट की 44 कोशिशें नाकाम की गईं। इस दौरान 120 लुटेरे पकड़े गए।उन्होंने कहा- 2008 के बाद अदन की खाड़ी में गश्त के लिए नौसेना के 70 युद्धपोत लगाए गए। जिन्होंने 3440 से ज्यादा मालवाहक जहाजों को अदन की खाड़ी से गंतव्य तक सुरक्षित पहुंचाया। बीते 10 साल में इसके लिए करीब 25 हजार नौसैनिक तैनात किए गए। अदन की खाड़ी यमन और सोमालिया के बीच 1000 किलोमीटर क्षेत्र में फैली है। यहां जहाजों को लुटेरों से बचाने के लिए भारत, चीन और 32 देशों की कम्बाइंड नेवी फोर्स निगरानी करती है।नौसेना के जंगी जहाज आईएनएस त्रिशूल ने अक्टूबर 2017 में भारत के कार्गो शिप को लुटेरों से बचाया था। सऊदी अरब जा रहे जहाज एमवी जग अमर को अदन की खाड़ी में लुटेरों ने घेर लिया था। इसके बाद आईएनएस त्रिशूल पर सवार मार्कोस कमांडो ने ऑपरेशन चलाया। पिछले साल अप्रैल में भी सोमालियाई लुटेरों ने चीन के एक जहाज को अगवा किया था। भारत और चीन की नौसेना ने सात दिनों की कोशिशों के बाद इसे छुड़ाया। चीन का कार्गो शिप मलेशिया से यमन के अदन की तरफ जा रहा था।